Vastu Tips for paint: दीपावली पर घर की पेंटिंग से पहले जानें ये जरूरी वास्तु नियम, गलत रंग से हो सकता है नुकसान

Vastu Tips for paint: दीपावली,भारत में मनाया जाना वाला महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक है। इस शुभ अवसर पर लोग अपने घरों की सफाई, सजावट और पेंटिंग का विशेष ध्यान रखते हैं।

October 15, 2024
paint
Vastu Tips for paint: दीपावली पर घर की पेंटिंग से पहले जानें ये जरूरी वास्तु नियम, गलत रंग से हो सकता है नुकसान

Vastu Tips for paint: दीपावली,भारत में मनाया जाना वाला महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक है। इस शुभ अवसर पर लोग अपने घरों की सफाई, सजावट और पेंटिंग का विशेष ध्यान रखते हैं। घर में पेंट कराना इस तैयारी का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि अगर पेंटिंग के दौरान वास्तु नियमों का पालन नहीं किया गया, तो इसका नकारात्मक प्रभाव आपके जीवन पर पड़ सकता है? गलत रंगों का चुनाव वास्तु दोष का कारण बन सकता है, जिससे घर के सदस्यों के जीवन में बाधाएँ उत्पन्न हो सकती हैं।

वास्तु शास्त्र में हर दिशा, रंग और स्थान का अपना एक विशेष महत्व होता है। इसलिए, अगर आप दीपावली से पहले अपने घर में पेंट कराने जा रहे हैं, तो इन वास्तु नियमों को ध्यान में रखना बेहद जरूरी है। सही रंगों का चुनाव न सिर्फ आपके घर को सुंदर बनाएगा, बल्कि आपके जीवन में सकारात्मक ऊर्जा भी लाएगा। हर रंग का एक अलग प्रकार का कंपन (वाइब्रेशन) होता है, जो घर की ऊर्जा और माहौल को प्रभावित करता है।

सही रंग आपके मनोभावों, मानसिक शांति और स्वास्थ्य पर सकारात्मक प्रभाव डाल सकते हैं, जबकि गलत रंग नकारात्मक ऊर्जा का संचार कर सकते हैं और वास्तु दोष उत्पन्न कर सकते हैं। आइए, जानते हैं दीपावली से पहले घर में पेंट कराने से जुड़े कुछ प्रमुख वास्तु नियम और कौन-से रंग किस दिशा के लिए उपयुक्त होते हैं।

मुख्य द्वार:

मुख्य द्वार घर में ऊर्जा के प्रवेश का मुख्य केंद्र होता है। इसलिए इसका रंग वास्तु शास्त्र के अनुसार होना चाहिए। उत्तर या पूर्व दिशा में स्थित मुख्य द्वार के लिए हल्के नीले, सफेद या हल्के हरे रंग को शुभ माना जाता है। ये रंग सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं और घर में सुख-समृद्धि लाते हैं।

दक्षिण दिशा में स्थित मुख्य द्वार के लिए हल्का लाल, गुलाबी या नारंगी रंग उपयुक्त है। इन रंगों से जीवन में सकारात्मक बदलाव आते हैं और घर की सुरक्षा होती है।

दक्षिण-पूर्व दिशा:

दक्षिण-पूर्व दिशा को अग्नि तत्व से जोड़ा जाता है, इसलिए इस दिशा में आग्नेय रंग जैसे लाल, नारंगी और गुलाबी रंग का उपयोग करना शुभ माना जाता है। इस दिशा का वास्तु दोष दूर करने के लिए आप इन रंगों का प्रयोग कर सकते हैं। यह दिशा घर के किचन के लिए भी महत्वपूर्ण होती है, इसलिए किचन में भी इन रंगों का प्रयोग करना फायदेमंद हो सकता है।

उत्तर दिशा:

उत्तर दिशा को कुबेर, यानी धन के देवता की दिशा माना जाता है। इस दिशा में हरे और हल्के नीले रंग का उपयोग करना वास्तु के अनुसार अत्यंत शुभ माना जाता है। ये रंग घर में धन की वृद्धि करते हैं और समृद्धि को आकर्षित करते हैं। अगर आप अपने घर के ड्रॉइंग रूम या लिविंग रूम को इस दिशा में पेंट करवा रहे हैं, तो हल्के हरे या नीले रंग का चुनाव करें।

पूर्व दिशा:

पूर्व दिशा को सूर्य की दिशा माना जाता है, जो जीवन में नई शुरुआत और ऊर्जा का प्रतीक होती है। इस दिशा के लिए हल्का पीला, गुलाबी, नारंगी, और सफेद रंग शुभ माने जाते हैं। ये रंग जीवन में खुशहाली और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं। यदि आपका घर पूर्वमुखी है, तो इन रंगों का प्रयोग घर के बाहरी हिस्से और अंदरूनी हिस्सों में कर सकते हैं।

पश्चिम दिशा:

पश्चिम दिशा के लिए वास्तु शास्त्र में नीले और ग्रे रंग को उचित माना गया है। ये रंग घर में स्थिरता और समृद्धि लाते हैं। अगर आपका घर पश्चिम दिशा में है, तो इस दिशा में दीवारों पर इन रंगों का प्रयोग करें। इससे घर की ऊर्जा स्थिर रहेगी और परिवार के सदस्यों की उन्नति होगी।

दक्षिण दिशा:

दक्षिण दिशा को यम की दिशा कहा जाता है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि यह अशुभ है। इस दिशा में वास्तु दोष को दूर करने के लिए हल्के लाल, गुलाबी और नारंगी रंग का प्रयोग करना शुभ होता है। ये रंग जीवन में सकारात्मक बदलाव लाते हैं और घर की सुरक्षा बढ़ाते हैं।

बेडरूम के लिए paint का चयन:

बेडरूम के लिए रंगों का चयन करते समय इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि ये paint मन को शांति और सुकून प्रदान करें। उत्तर-पूर्व दिशा में स्थित बेडरूम के लिए हल्के हरे या सफेद रंग का उपयोग करना बेहतर होता है।

यह रंग आपके मानसिक तनाव को कम करने में मदद करता है और नींद को बेहतर बनाता है। दक्षिण-पश्चिम दिशा में स्थित बेडरूम के लिए हल्का पीला, गुलाबी या भूरे रंग का चयन करना लाभकारी होता है।

बच्चों के कमरे के लिए paint:

बच्चों के कमरे के लिए वास्तु शास्त्र में हल्के हरे, पीले, गुलाबी या नीले रंग को उचित माना गया है। ये रंग बच्चों के मानसिक विकास और उनके अध्ययन में एकाग्रता बढ़ाने में मदद करते हैं। साथ ही, बच्चों में सकारात्मक सोच और ऊर्जा का संचार करते हैं।

पूजा कक्ष के लिए रंग:

पूजा कक्ष, जो घर का सबसे पवित्र स्थान होता है, उसमें हल्के पीले, सफेद या क्रीम रंग(paint) का प्रयोग करना चाहिए। ये paint शांति, आध्यात्मिकता और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं, जिससे पूजा-अर्चना के समय ध्यान केंद्रित रहता है और घर में शांति बनी रहती है।

गलत रंगों के प्रभाव:

अगर घर में वास्तु नियमों का पालन किए बिना रंगों का चुनाव किया जाता है, तो यह वास्तु दोष का कारण बन सकता है। उदाहरण के लिए, अगर आप दक्षिण दिशा में नीला रंग करवाते हैं, तो यह वास्तु दोष पैदा कर सकता है।

इसी तरह, उत्तर दिशा में लाल या नारंगी रंग का प्रयोग भी धन हानि का कारण बन सकता है। इसलिए, रंगों का चुनाव करते समय वास्तु शास्त्र के नियमों का ध्यान रखना जरूरी है।

डिस्क्लेमर: इस लेख में प्रस्तुत जानकारी ज्योतिष और धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है। विभिन्न माध्यमों से एकत्रित करके ये जानकारियाँ आप तक पहुँचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज़ सूचना पहुँचाना है। viralnewsvibes.com इस जानकारी की सटीकता, पूर्णता, या उपयोगिता के बारे में कोई दावा नहीं करता और इसे अपनाने से होने वाले किसी भी परिणाम के लिए जिम्मेदार नहीं होगा। पाठकों को सलाह दी जाती है कि वे अपने विवेक और निर्णय का उपयोग करें।