Amitabh Jaya marriage: अमिताभ बच्चन और जया बच्चन (Amitabh Jaya marriage) बॉलीवुड के सबसे प्रतिष्ठित और चर्चित दंपतियों में से एक हैं। उनकी शादी (Amitabh Jaya marriage) को आज भी एक आदर्श माना जाता है। लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि उनकी शादी (Amitabh Jaya marriage) के समय कुछ ऐसी घटनाएँ भी हुई थीं जो उस समय विवाद का कारण बन सकती थीं।
दरअसल, अमिताभ और जया की शादी (Amitabh Jaya marriage) के समय एक बड़ा विवाद तब खड़ा हुआ, जब एक पुजारी ने उनकी जाति पर ऐतराज करते हुए शादी रुकवाने की कोशिश की थी। जी हां, आप जानकर हैरान रह जाएंगे कि जाति के कारण अमिताभ और जया की शादी (Amitabh Jaya marriage) को लेकर एतराज जताया गया था। आइए जानते हैं इस अनकही कहानी के बारे में विस्तार से।
अमिताभ और जया की लव स्टोरी:
अमिताभ बच्चन और जया भादुरी (Amitabh Jaya marriage) की मुलाकात 1970 के दशक में हुई थी, जब दोनों बॉलीवुड में अपने करियर की शुरुआत कर रहे थे। उनकी पहली फिल्म ‘गुड्डी’ थी, जिसमें जया ने प्रमुख भूमिका निभाई थी और अमिताभ ने गेस्ट अपीयरेंस किया था। हालांकि, उनकी पहली बड़ी हिट फिल्म ‘जंजीर’ मानी जाती है, जिसने दोनों को स्टारडम की ऊंचाईयों तक पहुंचा दिया। इस फिल्म के बाद ही दोनों की लव स्टोरी शुरू हुई।अमिताभ और जया (Amitabh Jaya marriage) के प्यार की चर्चा उस समय हर जगह थी। दोनों एक-दूसरे के प्रति काफी समर्पित थे, और जल्द ही उन्होंने अपने रिश्ते को शादी (Amitabh Jaya marriage) में बदलने का फैसला किया।
जाति का विवाद:
अमिताभ बच्चन और जया भादुरी की शादी (Amitabh Jaya marriage) से पहले एक बड़ा विवाद खड़ा हो गया था। दरअसल, जिस समय उनकी शादी (Amitabh Jaya marriage) की तैयारियां चल रही थीं, उस समय एक पुजारी ने जातिगत भेदभाव का मुद्दा उठाया था। पुजारी ने कहा था कि अमिताभ बच्चन और जया भादुरी (Amitabh Jaya marriage) की जाति अलग-अलग है, इसलिए उनकी शादी धार्मिक रूप से सही नहीं है।
अमिताभ बच्चन कायस्थ परिवार से आते हैं, जबकि जया भादुरी बंगाली ब्राह्मण हैं। पुजारी ने इसी अंतर को लेकर आपत्ति जताई थी। उसने कहा कि दोनों की जाति अलग होने के कारण वे धार्मिक दृष्टि से एक-दूसरे के साथ विवाह (Amitabh Jaya marriage) नहीं कर सकते। पुजारी का कहना था कि विवाह की शुद्धता और धार्मिकता तभी संभव है, जब दूल्हा और दुल्हन एक ही जाति के हों।
परिवार का समर्थन:
पुजारी की इस आपत्ति के बावजूद, बच्चन और भादुरी परिवार ने इस मुद्दे को गंभीरता से नहीं लिया। दोनों परिवारों का मानना था कि प्यार और रिश्ते जाति या धर्म से ऊपर होते हैं। इसलिए उन्होंने पुजारी की बातों को नजरअंदाज करते हुए शादी (Amitabh Jaya marriage) की तैयारियों को जारी रखा। इस विवाद के बावजूद, दोनों परिवारों ने मिलकर यह निर्णय लिया कि अमिताभ और जया की शादी धूमधाम से होगी।
Amitabh Jaya marriage:
अमिताभ और जया की शादी 3 जून 1973 को एक छोटे और निजी समारोह में हुई थी। इस शादी में बॉलीवुड के कुछ ही चुनिंदा लोग शामिल थे। दोनों ने बेहद सरल और पारंपरिक तरीके से शादी की। शादी का यह आयोजन बहुत ही सादगीपूर्ण था। अमिताभ और जया की शादी के बाद यह विवाद धीरे-धीरे शांत हो गया और लोगों ने इसे भुला दिया। लेकिन आज भी जब इस शादी की चर्चा होती है, तो यह बात सामने आती है कि किस तरह जातिगत भेदभाव ने उनके रिश्ते को चुनौती दी थी।
प्यार ने तोड़ी सारी बंदिशें:
अमिताभ और जया की शादी एक ऐसे समय में हुई, जब समाज में जातिगत भेदभाव बहुत अधिक था। लेकिन इस शादी ने समाज के सामने एक मिसाल पेश की कि जाति के आधार पर रिश्तों का मूल्यांकन नहीं किया जाना चाहिए। अमिताभ और जया के प्यार ने सभी सामाजिक बंदिशों को तोड़ दिया और उनके रिश्ते ने यह साबित कर दिया कि प्यार के सामने जाति, धर्म, और समाज की अन्य सीमाएं कोई मायने नहीं रखतीं। उन्होंने यह साबित किया कि प्यार और आपसी समझ ही किसी भी रिश्ते की असली बुनियाद होती है। उनका रिश्ता आज भी बॉलीवुड और पूरे देश के लिए प्रेरणा है।
उनकी शादी को अब 50 साल होने वाले हैं, लेकिन उनके बीच का प्रेम और सम्मान पहले जैसा ही बना हुआ है। उनकी शादीशुदा जिंदगी में उतार-चढ़ाव जरूर आए, लेकिन उन्होंने हमेशा एक-दूसरे का साथ दिया। उनके दो बच्चे, अभिषेक बच्चन और श्वेता बच्चन नंदा, भी अपनी-अपनी जिंदगी में सफल हैं। अभिषेक ने भी ऐश्वर्या राय से शादी की, जो मिस वर्ल्ड रह चुकी हैं और बॉलीवुड की सबसे सफल अभिनेत्रियों में से एक हैं।